जल संचयन में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले प्रथम तीन जिलों को मिलेगा सम्मान

भोपाल
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि जल हमारे सुनहरे और समृद्ध भविष्य का मूल आधार है। जल सहेजकर ही हम अपने अस्तित्व और अपनी भावी पीढ़ी का भविष्य संवार सकते हैं। समाज और सरकार की साझेदारी और सबके सक्रिय सहयोग से ही जल गंगा संवर्धन अभियान एक जन आंदोलन बना है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने गत दिवस मुख्यमंत्री निवास में जल गंगा संवर्धन अभियान के अंतर्गत प्रदेश में जल संरक्षण को लेकर हो रहे प्रयासों की समीक्षा करते हुए कहा कि जल संचयन और इसके संवर्धन में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले जिलों की ग्रेडिंग की जाएगी और प्रदर्शन के आधार पर प्रथम तीन जिलों के नाम घोषित कर इन्हें सम्मानित किया जाएगा। प्रथम तीन जिलों के नामों की घोषणा 30 जून को खण्डवा में आयोजित जल गंगा संवर्धन अभियान के समापन समारोह एवं वाटरशेड सम्मेलन में की जाएगी। कार्यक्रम में केन्द्रीय मंत्री, पंचायत एवं ग्रामीण विकास एवं श्रम मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल, जल संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट, पंचायत एवं ग्रामीण विकास राज्य मंत्री श्रीमती राधा सिंह, स्थानीय सांसद, स्थानीय विधायकगण सहित केन्द्र सरकार के आमंत्रित वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित रहेंगे।

पुरानी जल संरचनाओं और धरोहरों को भी संवारें

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि जल गंगा संवर्धन अभियान में प्रदेश में हुए उल्लेखनीय कामों से प्रेरणा लेकर सभी जिलों में ऐसे जल संरक्षण के कामों को बढ़ावा दिया जाएगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि उज्जैन में बावनकुंड और बुरहानपुर जिले में कुंडी भंडारा (आम बोलचाल में खूनी भंडारा के नाम से प्रचलित) जैसे ऐतिहासिक जल स्त्रोतों को भी इस अभियान से जोड़कर यहां जरूरी विकास कार्य कराने की संभावनाएं तलाशी जाएं। उन्होंने निर्देश दिए कि जल बचाने के लिए पुरातन जल संरचनाओं/धरोहरों को संवारने और इन्हें वर्तमान की जल आवश्यकताओं की पूर्ति के लिए तैयार करने के सभी प्रयास किए जाएं।

नर्मदा परिक्रमा पथ पर चिन्हित आश्रय स्थलों पर किया जाएगा पौधरोपण

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश में मां नर्मदा परिक्रमा पथ पर चिन्हित करीब 224 से अधिक आश्रय स्थलों पर पौधारोपण भी कराएगी। इससे यह सम्पूर्ण परिक्रमा पथ श्रद्धालुओं और पथिकों के लिए सुविधाजनक, बेहतर और आकर्षक बनेगा।

जन अभियान परिषद् ने 40 लाख लोगों को जल संरक्षण से जोड़ा

जल गंगा संवर्धन अभियान में हुई प्रमुख गतिविधियों के बारे में प्रमुख सचिव, ग्रामीण विकास श्रीमती दीपाली रस्तोगी ने जानकारी दी कि जन अभियान परिषद् ने इस अभियान में सक्रियतापूर्वक भागीदारी करते हुए 40 लाख लोगों को जल संचय और संवर्धन के साथ-साथ जल संरक्षण के कार्यों से जोड़ा है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने जन अभियान परिषद् को इस सक्रियता के लिए बधाई दी। जन अभियान परिषद् के राज्य स्तरीय अधिकारी ने बताया कि परिषद् को जिला प्रशासन के निर्देशन में ग्राम/ग्राम पंचायत स्तर पर अपने नेटवर्क के जरिए अभियान की गतिविधियों में जन सहभागिता सुनिश्चित करने का लक्ष्य दिया गया था। परिषद् ने प्रस्फुटन एवं नवांकुर समितियों को इस कार्य के लिए लक्षित किया। परिषद् ने ग्रामीण जल स्त्रोतों की साफ-सफाई और संरक्षण के साथ-साथ ग्रामीणों को जल के महत्व के बारे में संवदेनशीलता के साथ जोड़ा। इससे ग्रामीणों को जल का महत्व समझ में आया और बड़ी संख्या में ग्रामीण जल संरचनाओं के निर्माण के साथ-साथ पुराने जल स्त्रोतों का विकास कर उनमें जल पुर्नभरण हुआ। परिषद् ने जल के महत्व को जन-जन तक पहुंचाने के लिए रचनात्मक तरीके अपनाए और जनोपयोगी संदेशों का प्रचार-प्रसार कर जन-जन की जल संचय में भागीदारी सुनिश्चित की।

 

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